Uttkarsh Prakashan

Tum Mere Baad Rahoge Kaise ?


Tum Mere Baad Rahoge Kaise ?

Tum Mere Baad Rahoge Kaise ? (Paperback)

Author : Dr. Ishwar Chand Gambhir
Publisher : Uttkarsh Prakashan

Length : 96Page
Language : Hindi

List Price: Rs. 150

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डा.गंभीर में सबसे विशेष बात ये है कि उनकी रचनाओं में किसी के लिये भी छूट नहीं हैं उन्हें जो कुछ भी कहना है वह निर्भीक होकर लिखते और कहते हैं। उनकी अब तक 24 पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं जिनमें से 13 पुस्तकें उत्कर्ष प्रकाशन द्वारा प्रकाशित हुई हैं .... दुबई से लेकर कनाडा तक उत्कृष्ट साहित्य के लिये उन्हें सम्मानित किया जा चुका है। मालीवुड से लेकर बाॅलीवुड तक में उनके गीतों ने धूम मचाई है। आकाशवाणी से लेकर दूरदर्शन तक उनकी रचनाओं के प्रसारण समय-समय पर होते रहते हैं। गंभीर जी को हर विधा में लिखने में महारत हासिल है। वह जब ओज लिखते हैं तो दुश्मन को पसीना आ जाता है, और उनके श्रृंगार के गीत पढ़कर तो मानों मानव मन में ऐसा लगता है जैसे काले-काले बादल आसमान में उमड़ने-घुमड़ने लगे हैं, दादुर शोर मचाने लगे हैं, पादप शीश झुकाने लगे हैं, युवाओं के अंतस में भावनाएं कुलबुलाने लगती हैं, चाहत के चातक करवटें बदलने लगते हैं और तब दूर कहीं भावनाओं के सघन कुंज से सृजन वन का पंछी उड़ आता है और सृजन प्रक्रिया शुरू हो जाती है। सृजन का यह पल सचमुच बड़ा ही नाजुक होता है और तब इस नाजुकता में सृजन भी अनविार्य हो जाता है। कवि की यही सोच उनकी रचनाओं में झलकती है। वे प्रकृति से प्रेरित होकर पुस्तक लिखते हैं। मैं अपने गुरुवर डाॅॉ ईश्वर चंद गंभीर जी को ढेरों शुभकामनायें देता हूँ और ये कामना करता हूँ कि साहित्य जगत का ये चितेरा चिराग यूँ ही रोशन होता रहे। ‘तुम मेरे बाद रहोगे कैसे’ पुस्तक में कवि गंभीर कभी अपनी नायिका से प्रेम मनुहार करते दिखाई देते हैं तो कहीं समाज को प्रेम का संदेश देते हैं तो कहीं बदलते परिवेश की चालाकियों से अवगत कराते हुए लिखते दिखायी पड़ते हैं। उनकी रचनाओं में प्रयुक्त शब्दों से उत्पन्न भाव पाठक से लेकर श्रोता तक को सोचने पर विवश कर देता है अगर वह पाठक के मुख-मण्डल पर हास्य की आभा बिखेरने में सक्षम हैं तो वहीं वह श्रोता को सामाजिक विसंगतियों पर अपनी कलम चलाकर सोचने को विवश कर देते हैं।

Specifications of Tum Mere Baad Rahoge Kaise ? (Paperback)

BOOK DETAILS

PublisherUttkarsh Prakashan
ISBN-109-38-815518-1
Number of Pages96
Publication Year2021
LanguageHindi
ISBN-13978-93-88155-18-2
BindingPaperback

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